रणनीति बदल अब राज्य निर्माण आंदोलनकारियों ने दिल्ली और देहरादून दोनों जगह प्रदर्शन करने का लिया फैसला-धीरेन्द्र प्रताप
नई दिल्ली।उत्तराखंड सरकार की उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलन कारियों के प्रति उपेक्षा और अवहेलना के भाव से नाराज राज्य निर्माण आंदोलन कारियों ने अब अपनी रणनीति बदल कर कल विधानसभा सत्र के दिन देहरादून और दिल्ली दोनों स्थानों पर सत्याग्रह करने का फैसला किया है ।
उक्त ऐलान करते हुए चिन्हित राज्य आंदोलनकारी संयुक्त समिति के केंद्रीय मुख्य संरक्षक और पूर्व मंत्री धीरेंद्र प्रताप ने बताया कि कल जहां समिति के अचिन्हित प्रकोष्ठ के केंद्रीय संयोजक पूर्व राज्य मंत्री मनीष नागपाल और महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्ष श्रीमती सावित्री नेगी के नेतृत्व में देहरादून विधानसभा पर राज्य आंदोलनकारी सांकेतिक सत्याग्रह करेंगे। वहीं दिल्ली में दिल्ली के राज्य निर्माण आंदोलन कारियों की 20 साल बाद भी चिन्हीकरण ना किए जाने के विरोध में दिल्ली स्थित उत्तराखंड आयुक्त कार्यालय के बाहर दिल्ली एन सी आर के आंदोलनकारी समिति के अध्यक्ष मनमोहन शाह और चिन्हित्र प्रकोष्ठ के अध्यक्ष ब्रजमोहन सेमवाल सरकंक अनिल पंत के नेतृत्व में काले झंडे लेकर प्रदर्शन करेगे।
धीरेंद्र प्रताप ने कहा कि कोरोना के बिगड़ते हालात को लेकर ये प्रदर्शन जो बड़ी शक्ति से होने थे परंतु अब रणनीति बदल कर सांकेतिक प्रदर्शनों के माध्यम से उत्तराखंड विधानसभा और दिल्ली स्थित उत्तराखंड आयुक्त कार्यालय के बाहर राज्य निर्माण आंदोलन कारी सत्याग्रह करेंगे ।धीरेंद्र प्रताप ने बताया चिन्हिकरण के अलावा यह लोग 10 अन्य मांगों को लेकर राज्य सरकार को 11 सूत्री ज्ञापन भेंट करेंगे ।इस ज्ञापन में आंदोलनकारी चिन्हिकरण, आंदोलनकारी आरक्षण गैरस”ण स्थाई राजधानी, आंदोलनकारियों के परिजनों को नौकरियों में आरक्षण के अलावा पेंशन, राज्य के सीमांत जिलों में पलायन को रोकने हेतु वहां पर स्थाई रोजगार, शिक्षा और स्वास्थ्य की बेहतर व्यवस्था किया जाना ,लोगों को वनाधिकार दिया जाना जैसे कई महत्वपूर्ण बिंदु शामिल है ।उन्होंने आज फिर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत पर हमला बोलते हुए उन्हे उत्तराखंड आंदोलनकारियों का दुश्मन बताया व उन्हे धृतराष्ट्र की संज्ञा दी और कहा कि आंदोलनकारियों का अपमान करने वाली सरकार को चुल्लू भर पानी में डूब कर मर जाना चाहिए ।