‘विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस’ पर आयोजित एक प्रदर्शनी का उद्घाटन किया सतीश उपाध्याय ने
नई दिल्ली। भारत की आजादी के 75 साल को “आजादी का अमृत महोत्सव” के रूप में मनाने के अवसर पर, नई दिल्ली क्षेत्र में आयोजित विभिन्न कार्यक्रमों की श्रृंखला में श्री सतीश उपाध्याय, उपाध्यक्ष – नई दिल्ली नगरपालिका परिषद (एनडीएमसी) ने हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड द्वारा आयोजित ‘विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस’ विषय पर आयोजित एक प्रदर्शनी का उद्घाटन ऑटो केयर सेंटर, नीति मार्ग, नई दिल्ली में किया ।
श्री उपाध्याय ने बताया कि भारत की वर्तमान और भावी पीढ़ियों को विभाजन के दौरान लोगों द्वारा सही गई यातना एवं वेदना का स्मरण दिलाने के लिए 14 अगस्त को ‘विभाजन विभीषिका स्मृति दिवस’के रूप में घोषित किया गया था ।
उन्होंने कहा कि इस प्रदर्शनी का उद्देस्य आम जनता को जागरूक करना और युवापीढ़ी को बताना है की किस प्रकार देश के बंटवारे का दर्द, जो कभी भुलाया नहीं जा सकता और किस प्रकार नफरत और हिंसा की वजह से हमारे लाखों बहनों और भाइयों को विस्थापित होना पड़ा और अपनी जान तक गंवानी पड़ी थी। इसी याद में 14 अगस्त को यह खास दिवस मानाया जाता है । उन्होने बताया की यह प्रदर्शनी आम जनता के लिए 10 से 14 अगस्त तक लगाई गई है जिस पर उस समय की अमूल्य फोटो और उनकी जानकारी प्रदर्शित की गई है ।
श्री उपाध्याय ने इस दिवस की जानकारी देते हुए बताया कि भारत का विभाजन किसी भी विभीषिका से कम नहीं । इसका दर्द आज भी देश को झेलना पड़ रहा है । भारत के लोगों ने लाखों कुर्बानियां देकर ब्रिटिश हुकूमत से आजादी प्राप्त की थी । लेकिन भारत की आजादी के साथ देश का भी विभाजन हुआ और पाकिस्तान अस्तित्व में आया । विभाजन से पहले पाकिस्तान का कोई नामो-निशान नहीं था । अंग्रेजों की साजिश का यह प्रतिफल था कि भारत को बांटकर एक अन्य देश खड़ा किया गया । उन्होने कहा की यह विभाजन साधारण नहीं था और वैसे कोई विभाजन साधारण नहीं होता, लेकिन भारत का मामला और भी दर्दभरा है । विभाजन की घटना के मद्देनजर 14 अगस्त 1947 का दिन इतिहास का एक गहरा जख्म है, ऐसा जख्म जो हमेशा ताजा रहता है । यह वही दिन है, जब देश का बंटवारा हुआ और पाकिस्तान एक अलग देश बना । बंटवारे की शर्त पर भारत को अंग्रेजों से आजादी मिली । इस विभाजन में भारतीय उपमहाद्वीप के दो टुकड़े किए । इस बंटवारे ने बंगाल का भी विभाजन किया गया जिसमें बंगाल के पूर्वी हिस्से को भारत से अलग कर पूर्वी पाकिस्तान बना दिया गया जो 1971 में बांग्लादेश के रूप में स्वतंत्र राष्ट्र बना ।
श्री उपाध्याय ने बताया कि आज हम सभी हमारे स्वतंत्रता सेनानियों के बलिदानों के परिणामस्वरूप भारत की आजादी की 75वीं वर्षगांठ मना रहे हैं ।
इस अवसर पर हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉर्पोरेशन लिमिटेड के उच्च पदाधिकारियों के साथ-साथ पेट्रोल पंप के कर्मचारी और अन्य दर्शक उपस्थित रहे ।
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