
हरिद्वार काशी और पटना जैसे धार्मिक महत्व के अनेक नगर इस नदी के तट पर बसे हुए हैं। पूरी आर्य सनातन वैदिक संस्कृति का विकास गंगा नदी के तट पर ही हुआ और इसीलिए यह नदी भारतीय संस्कृति का मूलाधार बनी। गंगा नदी को स्वच्छ बनाए रखना हम सब का कर्तव्य है क्योंकि यह मोक्षदायिनी भी है और सुरसरिता भी। गंगा जी की महिमा अपरंपार है। बुडको और इसके प्रबंध निदेशक को धन्यवाद देते हुए नीतू कुमारी नवगीत ने कहा कि जो यह बड़ी जिम्मेदारी मुझे मिली है, उसे पूरा करने के लिए सबकी भागीदारी और सबका सहयोग लेते हुए वह काम करेंगी।