दिल्ली में आयोजित रैबार – 2022 कार्यक्रम सम्पन्न
नए उत्तराखंड के निर्माण में हम सबको मिलकर एक साथ काम करना होगा——अजय भट्ट
नई दिल्ली में हिल मेल फाउंडेशन द्वारा आयोजित ‘रैबार 2022 “विजन फॉर न्यू उत्तराखण्ड 2030” वैचारिक मंथन में प्रदेश के कृषि एवं कृषक कल्याण मंत्री गणेश जोशी ने प्रतिभाग किया। कार्यक्रम में केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री अजय भट्ट, सांसद अनिल बलूनी, सीडीएस ले.जनरल अनिल चौहान, ले.जनरल अनिल भट्ट सहित कई शख्सियतों ने शिकरत की। इस अवसर पर मंत्री जोशी ने सभी उपस्थित अतिथि गणों को उत्तराखंड के ऑर्गेनिक उत्पाद भी भेंट किए। साथ ही मंत्री गणेश जोशी ने मनजीत नेगी द्वारा लिखित ‘ महायोद्धा की महागाथा’ पुस्तक का भी विमोचन किया।
इस अवसर पर मंत्री जोशी ने कहा कि रैबार कार्यक्रम में वह मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के प्रतिनिधि के तौर पर कार्यक्रम में पहुंचे है। उन्होंने कहा ऐसे आयोजन विकास में एकरूपता, निरंतरता तथा परिस्थितियों को अनुकूल बनाने का भी कार्य करते हैं। इससे राज्य के विकास की दशा एवं दिशा भी तैयार करने में मदद मिलती है। उन्होंने कहा राज्य के विकास में किसी अकेले की नहीं बल्कि हम सबकी सामुहिक यात्रा है इसके लिये हमें सहभागी बनना होगा।मंत्री जोशी ने कहा देश की सबसे उपजा भूमि हमारे प्रदेश में है और हमें इसका फायदा उठाना होगा। उन्होंने कहा हमारे पहाड़ों का मंडुआ,झंगोरा आजकल विदेशों में ‘सुपरफूड’ के नाम से जाना जाता है। मोदी जी के प्रयासों से 2023 को संयुक्त राष्ट्र ने “ईयर ऑफ़ मिल्लेट्स” घोषित किया है और हमारे प्रदेश को इसका लाभ अवश्य मिलेगा।
श्री जोशी ने कहा यह आवश्यक है की हम उत्तराखंड के परम्परागत उत्पादों को दुनिया तक पहुंचाए। उन्होंने कहा इसी को ध्यान में रखते हुए मैंने प्रदेश में मिल्लेट्स की खेती को प्रोत्साहन देने के लिए अधिकारीयों को प्रदेश में “मिलेट मिशन” तैयार करने को कहा सरकारी राशन में एक किलो मोटा अनाज बांटने से लेकर मिड दे मील में मिल्लेट्स का उपयोग करने के साथ ही मिल्लेट्स को मोबाइल वाहनों के ज़रिए सीधा किसानों के खेतों से खरीदा जाएगा। मंत्री जोशी ने कहा प्रदेश में शीघ्र ही अलग-अलग उत्पादों के लिए सेंटर ऑफ एक्सीलेंस स्थापित किए जा रहे है । जैसे की सेब, कीवी, अखरोट, बे मौसमी सब्ज़ी। इन उत्कृष्ता केन्द्रों में रीसर्च के द्वारा इन फलों एवं सब्ज़ियों की उत्पादक क्षमता में बढ़ावा होगा।
प्रदेश के उद्यानों जो हॉर्टी टूरिज्म के लिए विकसित करने का कार्य कर रहे हैं। मंत्री जोशी ने कहा राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के अंतर्गत राज्य में 50 हज़ार से ज़्यादा समूह के अंतर्गत लगभग 4 लाख महिलाएं संगठित हैं। उन्होंने कहा हमारी मात्र शक्ति की ऊर्जा से प्रेरित होकर हमने 2025 तक सवा लाख माताओं और बहनों को लखपति दीदी बनाने का प्रण लिया है। मंत्री जोशी ने कहा हमारा संकल्प है कि जब राज्य 25 वर्ष का होगा तब हम उत्तराखण्ड को देश का सर्वश्रेष्ठ राज्य में शामिल करेंगे इस दिशा में प्रदेश सरकार लगातार प्रयासरत है। मंत्री जोशी ने कहा निश्चित ही इस कार्यक्रम के जरिए जो मंथन निकल कर आएगा वो प्रदेश के हित में मिल का पत्थर साबित होगा। इस अवसर पर मंत्री गणेश जोशी ने कार्यक्रम के आयोजन के लिए आयोजक मनजीत नेगी को बधाई ओर शुभकामनाएं भी दी।सीडीएस जनरल अनिल चौहान, देश के रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट, उत्तराखंड के कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी, मशहूर लेखक प्रसून जोशी की गरिमाई उपस्थिति में रैबार 2022 का हुआ आयोजन
तीन बार “रैबार” उत्तराखंड में करने के बाद इस बार “Raibaar” का आयोजन दिल्ली एनसीआर में बसे उत्तराखंडियों के बीच किया गया। 17 दिसंबर 2022 को दिल्ली हुआ ‘रैबार’ संवाद कार्यक्रम की थीम – Vision of New Uttarakhand 2030’ है। इस थीम के साथ हम उत्तराखंड राज्य की भविष्य की योजनाओं और सपनों को सरकार करने लिए प्रतिनिधियों के साथ अलग-अलग क्षेत्रों के प्रबुद्ध लोगों के माध्यम से समझेंगे। इस कार्यक्रम में उत्तराखंड के पहाड़ों से लेकर तराई के मैदानों तक की समझ रखने वाले रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट, उत्तराखंड को लेकर विकास की एक नई सोच के प्रतीक राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी और चीफ ऑफ डिफेंस जनरल अनिल चौहान, उत्तराखंड सराकर में कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी, डीजी इंडियन स्पेस एसोसिएशन लेफ्टिनेंट जनरल अनिल भट्ट और प्रसिद्ध गीतकार प्रसून जोशी की गरिमामयी उपस्थिति में इस ‘विजन फ़ॉर न्यू उत्तराखंड-2030’ संवाद-मंथन कार्यक्रम का आरंभ हुआ।
किसी भी समाज में वैचारिक मंथन की परंपरा उस समाज के जागरूक लोगों का द्योतक है। इसी जन मंथन को लेकर हिल-मेल उत्तराखंड के प्रवासियों के बीच समय-समय पर विचार गोष्ठियों का आयोजन भी करता रहता है जिसमें अलग-अलग क्षेत्रों से जुडे़ लोग हिस्सा लेते हैं और देवभूमि के उत्थान को लेकर विचार विमर्श करते हैं। यह वैचारिक मंथन “रैबार” कार्यक्रम के जरिए होता है। इसके माध्यम से हम उत्तराखंड की प्रमुख सख्सियतों को हिल-मेल के मंच पर एकत्रित करते हैं तथा उत्तराखंड राज्य की प्रगति और उन्नति के मुद्दों को लेकर प्रबुद्ध लोगों से संवाद करते हैं।
संवाद की यह यात्रा 2017 से आरम्भ हुई और निरंतर जारी रही। अब 2022 में हम दिल्ली में इस कार्यक्रम को 17 दिसंबर को कर रहे हैं। हिल—मेल द्वारा 2017 में देहरादून में और 2019 को टिहरी झील में रैबार कार्यक्रम का सफल आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में जो मंथन हुआ उससे जो मुद्दे निकलकर आए उनमें से कुछ महत्वपूर्ण एरिया पर सरकार ने काम भी किया। जैसे- देहरादून में ड्रोन एप्लिकेशन एंड रिसर्च सेंटर का निर्माण हुआ। कोस्ट गार्ड भर्ती सेंटर का निर्माण के लिए सरकार द्वारा भूमि उपलब्ध कराई गई। उत्तराखंड में फलदार वृक्षों को लगाने का काम जोर—शोर से किया जा रहा है। इसके अलावा भी कई ऐसे काम हो रहे हैं जो रैबार के मंच से उठे थे और अब उन पर काम हो रहा है।
कार्यक्रम में नए उत्तराखंड को लेकर अपनी बात रखते हुए रक्षा राज्य मंत्री अजय भट्ट ने कहा कि हम सबको मिलकर नए उत्तराखंड का निर्माण करना है। आज उत्तराखंड की मिट्टी के लाल हर क्षेत्र में अपनी प्रतिभा, मेहनत और ईमानदारी के बल पर उत्तराखंड का नाम रोशन कर रहे हैं। अब नए उत्तराखंड के निर्माण में इन सबको मिलकर एक साथ काम करना होगा। आज हिल-मेल के आयोजन में इसकी नींव पड़ गई है। इसके साथ ही राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी ने कहा कि हम सबको अपने गाँव की ओर देखना चाहिए। आने वाला दशक उत्तराखंड का होगा। हमारी सरकार उत्तराखंड के विकास के लिए हमेशा तत्पर रही है। जल्द ही हमारे उत्तराखंड को वंदेभारत रेल भी मिलने वाली है। इस मौके पर सी. डी. एस. अनिल चौहान ने कहा कि हमें उत्तराखंड के बॉर्डर को ऐसा विकसित करना चाहिए कि वो बॉर्डर टूरिज्म से जुड़ सकें। उत्तराखंड सरकार के मंत्री गणेश जोशी ने कहा कि हमारा उत्तराखंड बदल रहा है। इस बदलते उत्तराखंड की एक झाँकी आप हिल-मेल के इस संवाद मंथन में आए प्रबुद्धजनों के रूप में भी देख सकते हैं। यही लोग नया उत्तराखंड बनाएंगे। साथ ही उन्होंने ने कहा कि अगला रैबार आप मसूरी में कीजिए और हम सब लोग मिलकर नया उत्तराखंड बनाएंगे। जनरल अनिल भट्ट ने कहा कि उत्तराखंड की प्रतिभाओं से नया उत्तराखंड बनेगा। साथ ही इस सत्र के अंत में प्रसून जोशी ने कहा कि इस तरह के सम्मलित प्रयास ही नए उत्तराखंड का निर्माण करेंगे।
इसके साथ ही हिल-मेल पत्रिका के “शिखर पर उत्तराखंडी” टॉप—50 अंक का लोकार्पण किया गया और उत्तराखंड के 20 सम्मानित जनों को हिल रत्न सम्मान भी दिया गया।
रैबार के इस एक दिवसीय संवाद मंथन कार्यक्रम में उत्तराखंड जुड़े विभिन्न संस्थाओं व क्षेत्रों में महत्वपूर्ण योगदान देने वाले विद्वानजनों- जागर गायक प्रीतम भरतवाण, जीबी पंत विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ. मनमोहन चौहान, पर्यावरण मंत्रालय में जॉइंट सेक्रेटरी अरविंद नौटियाल, आईटीबीपी के एडीजी पश्चिमि कमान मनोज रावत, सीईओ ब्रह्मोस एयरस्पेस संजीव जोशी और पूर्व एडवोकेट जनरल उत्तराखंड उमाकांत उनियाल ने नए उत्तराखंड के निर्माण संबंधी अपने विचार और योजनाओं को साझा किया।