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शिवराज सिंह चौहान ने कहा– रबी अभियान 2025 के लिए 362.50 मिलियन टन उत्पादन का लक्ष्

केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौरबी सम्मेलन ‘एक राष्ट्र–एक कृषि–एक टीम’ का उदाहरण–शिवराज सिंह चौहान

Amar sandesh नई दिल्ली। केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण और ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज राष्ट्रीय कृषि सम्मेलन–रबी अभियान 2025 के अवसर पर प्रेस वार्ता में बताया कि वर्ष 2025-26 के लिए 362.50 मिलियन टन खाद्यान्न उत्पादन का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। उन्होंने कहा कि बीते वर्ष 2024-25 में देश का खाद्यान्न उत्पादन 353.96 मिलियन टन तक पहुँचा, जो पिछले वर्ष की तुलना में 21.66 मिलियन टन अधिक है। धान, गेहूँ, मक्का, मूंगफली और सोयाबीन जैसी प्रमुख फसलों में रिकॉर्ड उत्पादन दर्ज किया गया है।

शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि रबी सम्मेलन ‘एक राष्ट्र–एक कृषि–एक टीम’ के ध्येय को सिद्ध करने का सफल उदाहरण है। इस बार सम्मेलन दो दिन का आयोजित किया गया, ताकि कृषि विकास से जुड़े मुद्दों पर और गहराई से विचार-विमर्श हो सके। सम्मेलन में जलवायु सहनशीलता, गुणवत्तापूर्ण बीज-उर्वरक-कीटनाशक, बागवानी, प्राकृतिक खेती, प्रसार सेवाओं की भूमिका और केंद्र प्रायोजित योजनाओं के समन्वय जैसे विषयों पर विशेष चर्चा हुई। उन्होंने कहा कि अब राज्यों का कृषि रोडमैप वहीं कार्यशालाओं के जरिए तय किया जाएगा।

केंद्रीय कृषि मंत्री ने कहा कि रबी फसलों की बुवाई के लिए 229 लाख मीट्रिक टन बीज की आवश्यकता है, जबकि देश में 250 लाख मीट्रिक टन से अधिक बीज उपलब्ध है। खाद और उर्वरक की आपूर्ति को लेकर उन्होंने आश्वस्त किया कि राज्यों की आवश्यकता के अनुसार पूरी आपूर्ति की जाएगी। इस संबंध में रसायन एवं उर्वरक मंत्रालय के साथ निरंतर समन्वय किया जा रहा है।

शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि किसानों तक वैज्ञानिक तकनीक पहुँचाने के लिए 3 अक्टूबर से ‘विकसित कृषि संकल्प अभियान’ शुरू किया जाएगा। इसके तहत दो हजार से अधिक वैज्ञानिकों और कृषि विशेषज्ञों की टीमें गाँव-गाँव जाकर किसानों को सही जानकारी देंगी। इनमें केंद्र और राज्यों के कृषि विभाग के अधिकारी, कृषि विज्ञान केंद्रों के वैज्ञानिक, कृषि विश्वविद्यालयों के विशेषज्ञ, एफपीओ और प्रगतिशील किसान शामिल होंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आह्वान पर ‘लैब टू लैंड’ को साकार करने के लिए यह अभियान चलाया जाएगा।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि धान और गेहूँ का उत्पादन वैश्विक स्तर तक पहुँच चुका है, लेकिन दलहन और तिलहन में और सुधार की आवश्यकता है। इसके लिए राज्यों के साथ मिलकर ठोस रोडमैप तैयार किया जाएगा और प्रति हेक्टेयर उत्पादन बढ़ाने पर जोर रहेगा। उन्होंने बताया कि अब तक कपास और सोयाबीन जैसी फसलों पर राज्यवार बैठकों में विस्तृत चर्चा की जा चुकी है।

बाढ़ प्रभावित राज्यों को लेकर शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि पंजाब, हिमाचल प्रदेश, जम्मू, उत्तराखंड, हरियाणा और असम जैसे राज्यों में मदद पहुँचाने के लिए सरकार हरसंभव प्रयास कर रही है। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अंतर्गत आने वाले किसानों को जल्द से जल्द बीमा लाभ उपलब्ध कराने की पूरी कोशिश की जा रही है।

प्रेस वार्ता में नकली कीटनाशक, बीज और उर्वरक की समस्या पर भी चर्चा हुई। शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि राजस्थान सहित कई राज्यों ने ऐसी गतिविधियों पर सख्त कार्रवाई की है। केंद्र और राज्य मिलकर आगे भी दोषियों के खिलाफ कठोर कदम उठाते रहेंगे।

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